टुडे गुजराती न्यूज (ऑनलाइन डेस्क)
चीन में एक बार फिर अस्पताल भरने लगे हैं। दवाएं खत्म हो रही हैं। सामूहिक अंतिम संस्कार किए जा रहे हैं। वजह है आग की तरह फैल रहा कोरोना वायरस। इतनी तेजी से फैल रहे संक्रमण के लिए जिम्मेदार है ओमिक्रॉन का वैरिएंट BF.7। WHO के अधिकारियों का कहना है कि ये अब तक सबसे तेज फैलने वाला कोरोना वायरस है।
कोरोना वायरस का एक वैरिएंट है ओमिक्रॉन। इसके कई सब वैरिएंट हैं, जैसे- BA.1, BA.2, BA.5 वगैरह। ओमिक्रॉन का ऐसा ही एक लेटेस्ट सब वैरिएंट है BA.5.2.1.7 जिसे शॉर्ट में BF.7 कह रहे हैं।
BF.7 वैरिएंट कोरोना वायरस के स्पाइक प्रोटीन में एक खास म्यूटेशन से बना है जिसका नाम है R346T। इसी म्यूटेशन की वजह से इस वैरिएंट पर एंटीबॉडी का असर नहीं होता।
आसान शब्दों में कहें तो अगर किसी शख्स को पहले कोरोना हो चुका है या उसने वैक्सीन लगवाई है, तो उसके शरीर में एंटीबॉडी बन जाती है। BF.7 वैरिएंट इस एंटीबॉडी को भी चकमा देकर शरीर में घुस जाता है। एक हालिया स्टडी में पाया गया कि तीन बार वैक्सीनेटेड शख्स की एंटीबॉडी को भी ये वैरिएंट भेद सकता है।
चीन में अचानक कोरोना संक्रमण फैलने के लिए BF.7 वैरिएंट सबसे ज्यादा जिम्मेदार है। मेडिकल एक्सपर्ट्स के मुताबिक ये वैरिएंट इम्यून सिस्टम से बच निकलता है, संक्रमित होते ही व्यक्ति स्प्रेडर बन जाता है और तेजी से लोगों को संक्रमित करता है।
BF.7 की R0 वैल्यू 10 से 18.6 है। यानी इस वैरिएंट से संक्रमित एक व्यक्ति औसतन 10 से 18 लोगों को संक्रमित कर सकता है। WHO के अधिकारियों का मानना है कि ये अब तक के सभी वैरिएंट में ज्यादा है। इससे पहले डेल्टा की R0 वैल्यू 6-7 और अल्फा की R0 वैल्यू 4-5 थी।
चीन में अगले कुछ महीनों में 80 करोड़ लोग कोरोना संक्रमित हो सकते हैं। लंदन की ग्लोबल हेल्थ इंटेलिजेंस कंपनी एयरफिनिटी ने कहा कि चीन में जीरो कोविड पॉलिसी खत्म होने के बाद 21 लाख मौतें हो सकती हैं। अमेरिकी साइंटिस्ट एरिक फेगल-डिंग ने चेतावनी देते हुए कहा कि 90 दिन में चीन की 60% आबादी यानी करीब 80 करोड़ लोग लोग कोरोना से संक्रमित होंगे।
चीन में BF.7 की R0 वैल्यू ज्यादा होने के पीछे चीनियों की कमजोर इम्युनिटी भी हो सकती है। जीरो कोविड पॉलिसी की वजह से चीन के लोगों में बाकी दुनिया की तरह हर्ड इम्युनिटी नहीं है।